गैरसैंण। उत्तराखंड की ग्रीष्मकालीन राजधानी भराड़ीसैंण-गैरसैंण में आज प्रदेश सरकार की ओर से 57 हजार 400 करोड़ रुपये का बजट पेश किया गया है। सैकड़ों लघु उद्योगों पर लॉकडाउन का जख्म अभी तक बरकरार है। करीब-करीब बंदी की कगार पर पहुंच चुके इन उद्योगों और इनमें काम करने वालों को प्रदेश के बजट से मरहम की दरकार है। त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार का यह दूसरा बजट है।
वर्तमान बजट 2021-22 में मातृशक्ति को सम्मान देते हुए मुख्यमंत्री घस्यारी कल्याण योजना में 25 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है। इससे प्रदेश में करीब तीन लाख महिलाओं के सिर से घास का बोझ हटेगा। इस योजना के माध्यम से सरकार अनुदान पर घर द्वार पर पशुचारा (साइलेज) उपलब्ध कराएगी। जिससे महिलाओं को जंगलों से पशु चारा लाने से राहत मिलेगी।
सहकारिता विभाग के माध्यम से प्रदेश में मुख्यमंत्री घसियारी योजना चलाई जाएगी। हाल में मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने इस योजना की घोषणा की है। खास तौर पर पहाड़ की महिलाओं को जंगलों से पशु चारा लाने का बोझ रहता है। घर के कामकाज की जिम्मेदारी के साथ ही महिलाओं को रोजाना घास लाने के लिए जंगलों की दौड़ लगानी पड़ती है। जिससे कई बार महिलाओं पर जंगली जानवरों के हमले और घास कटाते समय ऊंचाई से गिरने का खतरा रहता है। पशु प्रजनन फार्म कालसी, श्यामपुर ऋषिकेश व आंचल पशु आहार निर्माणशाला रुद्रपुर में स्थापित इकाईयों में साइलेज तैयार किया जा रहा है। सरकार की ओर से योजना के तहत पहाड़ों में चार प्रतिशत और मैदानों में दो प्रतिशत अनुदान पशुचारा उपलब्ध कराया जाएगा।
बजट में चिकित्सा व परिवार कल्याण के लिए 3319.63 करोड़ रुपये, हरिद्वार, पिथौरागढ़ एवं रुद्रपुर में मेडिकल काॅलेज के लिए 228.99 करोड़ और जिला अस्पतालों के विकास के लिए 200 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। त्रिवेंद्र सरकार ने चुनावी वर्ष में पांचवें बजट में अन्नदाता और खेती किसानी का खास ख्याल रखा है। जैविक और कलस्टर आधारित खेती से किसानों की आमदनी बढ़ाने पर बजट में फोकस किया गया। कृषि कर्म एवं अनुसंधान के लिए बजट में 1108 करोड़ की व्यवस्था की गई है।
बजट में जमरानी बांध परियोजना के निर्माण के लिए आय-व्यय की मद के लिए 240 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। बजट में अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना के संचालन के लिए 150 करोड़ का प्रावधान है। चिकित्सा एवं परिवार कल्याण हेतु 3319 करोड़ 63 लाख रुपए का प्रावधान है। बजट में मुख्यमंत्री पलायन रोकथाम योजना के लिए 18 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। वहीं, राष्ट्रीय ग्राम स्वराज अभियान और राज्य सेक्टर के अन्तर्गत इस आय व्यय में पंचायत भवनों के निर्माण के लिए 49 करोड़ 86 लाख रुपये का प्रावधान किया गया है।
बजट में प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना में पूंजीगत परिसम्पत्तियों के सृजन के लिए 954 करोड़ 75 लाख रुपये और भूमि क्रय के लिए 129 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। वहीं, मुजफ्फरनगर रेल लाइन निर्माण परियोजना के लिए 70 करोड़ रुपये की धनराशि का प्रावधान किया गया है।