पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर हल्द्वानी में कर्मचारियों का जोरदार प्रदर्शन, उत्तराखंड के भीतर कर्मियों के दमन का आरोप

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हल्द्वानी। हल्द्वानी में पुरानी पेंशन बहाली को लेकर राज्य कर्मचारी सरकार के खिलाफ लामबंद हो गए हैं। आज सैकड़ों की संख्या में राज्य कर्मचारियों ने नैनीताल रोड पर रैली निकाल कर प्रदर्शन किया। राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। वह पुरानी पेंशन बहाली की मांग कर रहे थे। कर्मचारियों का कहना है कि जैसे कुछ राज्यों की सरकारों ने पुरानी पेंशन को बहाल किया है, ठीक उसी प्रकार से उत्तराखंड में भी राज्य सरकार को कर्मचारियों की पुरानी पेंशन को बहाल करना चाहिए। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के अंदर कर्मचारियों का दमन किया जा रहा है, जिसको कर्मचारी किसी भी कीमत पर नहीं सहेंगे और पुरानी पेंशन की मांग को लागू करवा कर रहेंगे।
उल्लेखनीय है कि हिमाचल में पुरानी पेंशन बहाली के कैबिनेट प्रस्ताव के बाद उत्तराखंड के करीब 80 हजार कर्मचारी सरकार पर इसके लिए दबाव बनाने की तैयारी में हैं। कर्मचारी वोट फॉर ओपीएस के तहत प्रदेश में निकाय और लोकसभा चुनाव से पहले माहौल बनाने की तैयारी में हैं। कर्मचारियों का कहना है उनका किसी पार्टी विशेष से कोई मतलब नहीं है, लेकिन जो पुरानी पेंशन बहाली की बात करेगा, कर्मचारी उसे ही वोट देंगे। इस अभियान के तहत कर्मचारी चरणबद्घ आंदोलन कर रहे हैं। हर ब्लॉक और जिले से पुरानी पेंशन बहाली राष्ट्रीय आंदोलन के सदस्य अभियान से जुड़ेंगे। इधर पुरानी पेंशन बहाली के लिए आंदोलनरत कर्मचारियों के एक अन्य संगठन राष्ट्रीय पुरानी पेंशन बहाली संयुक्त मोर्चा ने भी आंदोलन की रणनीति तैयार की है। इस रणनीति के तहत रविवार को हल्द्वानी में प्रदेश स्तरीय रैली आयोजित की गई। यहां बड़ी संख्या में एकत्रित हुए राज्य कर्मचारियों ने नैनीताल रोड पर प्रदर्शन करते हुए रैली निकाली। कर्मचारियों का कहना है कि जिस प्रकार राजस्थान, झारखंड और छत्तीसगढ़ में पुरानी पेंशन बहाल कर दी गई है। उसी तर्ज पर उत्तराखंड में भी राज्य सरकार को कर्मचारियों की पुरानी पेंशन को बहाल करना चाहिए। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के अंदर कर्मचारियों का दमन किया जा रहा है। जिसे कर्मचारी किसी भी कीमत पर नहीं सहेंगे और पुरानी पेंशन की मांग को लागू करवा कर रहेंगे। कहा कि यदि इसके बाद भी पुरानी पेंशन बहाल नहीं की जाती है तो कर्मचारी विधानसभा सत्र के दौरान आरपार की लड़ाई लड़ेंगे।

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