देहरादून। राष्ट्रीय पुरानी पेंशन बहाली संयुक्त मोर्चा के शिष्टमंडल से मुलाक़ात के दौरान नव निर्वाचित मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने पुरानी पेंशन बहाली पर कर्मचारियों के लिए हर सम्भव प्रयास करने का आश्वासन दिया ।
बीजापुर राज्य अतिथि गृह में पुरानी पेंशन पर मुख्यमंत्री से वार्ता के दौरान राज्य के कोने कोने से पहुंचे राष्ट्रीय पुरानी पेंशन बहाली संयुक्त मोर्चा के पदाधिकारियों के शिष्टमण्डल ने कर्मचारियों की पुरानी पेंशन पर मुख्यमंत्री जी को लगातार की जा रही अनदेखी से अवगत कराया। मुख्यमंत्री जी ने शिष्टमंडल को पूर्ण आश्वासन देते हुए कहा है कि 2005 के वंचितो के लिए शीघ्र कार्यवाही करूंगा। साथ ही 2005 के पश्चात के कर्मचारियों हेतु केंद्र को विधानसभा में संकल्प पारित किया जाएगा। शिष्टमंडल से वार्ता के पश्चात संयुक्त मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष अनिल बडोनी ने कहा कि राज्य के लिए सौभाग्य की बात है कि राज्य को एक युवा मुख्यमंत्री प्राप्त हुए हैं । 2005 के पश्चात अधिकतर युवा ही इस नई पेंशन की पीड़ा से जूझ रहे हैं। एक युवा नेतृत्व ही युवाओं की पीड़ा को समझ कर हल कर सकता है। पुरानी पेंशन बहाली के लिए माननीय मुख्यमंत्री जी से लाखों कार्मिकों और परिवारों की आशाएं हैं।
प्रदेश वरिष्ठ उपाध्यक्ष डॉ० डी० सी० पसबोला ने कहा कि मुख्यमंत्री निरन्तर बदले जा रहे हैं लेकिन कर्मचारियों के हालात नहीं बदल पा रहे। राज्य विकास की राह पर अग्रसर है और कर्मचारियो के भविष्य को नई पेंशन के विनाश की ओर धकेल दिया गया है। आशा है इस परिदृश्य में नए युवा मुख्यमंत्री जी परिवर्तन लाएंगे और एनपीएस के जंजाल से एनपीएस पीड़ित कार्मिकों को मुक्ति दिलवाएंगे। एक सुलझे हुए युवा मुख्यमंत्री के आने से एनपीएस कार्मिकों में पुरानी पेंशन बहाली की उम्मीद फिर से जीवित हो गयी है।
प्रदेश महासचिव सीताराम पोखरियाल ने कहा की नव निर्वाचित मुख्यमंत्री जी को हार्दिक बधाईंयां देते हुए हम कार्मिक निवेदन करना चाहते हैं कि राज्य के कर्मचारी पिछले 16 वर्षों से इस नई पेंशन के दंश को झेल रहे हैं । एक जमीन से जुड़े नेतृत्व के आने से पुरानी पेंशन बहाली की उम्मीद भी जागृत हुई है जो इस पीड़ा को गहराई से समझते हैं।
प्रदेश प्रेस सचिव डॉ कमलेश मिश्रा ने कहा कि सँयुक्त मोर्चा के आह्वाहन पर कर्मचारियो ने विभिन्न तरीकों से अपनी गरिमा को बनाये रखते हुए अपनी मांगों को सरकाए के समक्ष रखा है आशा ही पिछले कई बार की तरह इस बार आश्वासन से आगे बात बढ़ेगी और कागज़ों के पटल तक पहुंचेगी।
गढ़वाल मंडल संरक्षक जसपाल रावत ने कहा कि राज्य के विकास की पीड़ा को कर्मचारी समझता है कितनी भी राजनीतिक उथल पुथल हो कर्मचारी मजबूती से सरकार का हाथ थामे रहते हैं लेकिन मांगो पर कार्यवाही न होने से विश्वास कमज़ोर पड़ता है । केवल कर्मचारी ही नही बल्कि उनके परिवार भी निराश होते हैं। आशा है संयुक्त मोर्चे से इस शिष्ट मुलाकात का कोई हल निकलेगा। गढ़वाल मंडल अध्यक्ष जयदीप रावत ने कहा कि राज्य की कल्याणकारी योजनाओं के बीच नई पेंशन की योजना कर्मचारियों के लिए घातक सिद्ध हो रही है आज हमने मुख्यमंत्री जी को इसकी गंभीरता से अवगत कराया है । उम्मीद है यह प्रयास सार्थक होंगे।
गढ़वाल मंडल महसचिव नरेश भट्ट ने कहा कि पुरानी पेंशन का दुख आप नई पेंशन में सेवानिवृत कर्मचारी से जान सकते हैं । जब हज़ार रुपये में पूरे घर का खर्च चलाना हो तो ऐसी पेंशन किस काम की। आशा है पूर्व के मुख्यमंत्री के आश्वासन व आज मिले आश्वासन में किसी प्रकार का अंतर अवश्य होगा। गढ़वाल मंडल सँयुक्त सचिव सौरभ नौटियाल ने कहा कि लगातार सरकार में हो रहे बदलावों का असर कर्मचारियों के हालातों पर भी पड़े तो इस विकास के लिए जमीन पर काम करने वालो को भी दिलासा मिले। आशा है युवा मुख्यमंत्री जी जमीन से जुड़े मुद्दों पर निर्णायक कदम उठाएंगे।